गजरौला नगर पंचायत में आवारा कुत्तों का आतंक व्याप्त है। इससे कई उम्रदराज लोगों ने भोरकालीन भ्रमण बंद कर दिया। बच्चे ऐसे स्थानों से होकर गुज़रते हुए डरते हैं।
यहां के विजयनगर, थाना चौक, अल्लीपुर चौपला से थाना चौराहे वाली सड़क, थाना चौराहे से कोल्ड स्टेार तक, लक्ष्मी नगर, चौहानपुरी आदि स्थानों पर आवारा कुत्तों का जमघट रहता है। हर वर्ष इनकी संख्या में इजाफा होता जा रहा है। अपने-अपने मोहल्ले के लोगों को तो ये पहचानकर कुछ नहीं कहते लेकिन दिन ढलते ही यदि कोई मेहमान या अनजान व्यक्ति इन स्थानों से गुज़रता है तो प्रायः उसे काट लेते हैं। दूसरे मोहल्ले का कोई व्यक्ति भी यदि इन स्थानों से गुजरता है तो ये उसपर भोंकते हैं और मौका देखकर काट भी लेते हैं।
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60 वर्षीय दिनेश सिंह ने बताया कि उनके साथ कई लोग भोरकाल में टहलने जाते हैं। एक रिटायर कर्मी भी जाते हैं। हम लोग जैसे ही खादगूजर मोड़ से फायर स्टेशन की ओर बढ़े तो एक कुत्ता रिटायरकर्मी की पर भौंकता हुआ काटने को दौड़ा। उसके बाद हम लोग उधर जाने का साहस नहीं जुटा पाये।
वृद्धावस्था में प्रातःकालीन भ्रमण सबसे बेहतर व्यायाम है। नगर के सैकड़ों वृद्ध भोरकाल में सूर्योदय से पूर्व टहलने जाते हैं। अब अधिाकांश के हाथ में कोई न कोई छड़ी होती है। लेकिन फिर भी आवारा कुत्तों का भय बना रहता है। जबकि टहलने के लिए तनावरहित और खुला दिमाग अधिक बेहतर होता है। देर सवेर कोई मेहमान भी आता है तो वह खतरे से खाली नहीं। लोगों ने नगर पंचायत प्रशासन से आवारा कुत्तों से बचाव की मांग की है लेकिन लगता नहीं कि नगर पंचायत प्रशासन इस ओर कोई ध्यान देगा। पहले भी कई बार इस तरह की शिकायतें की गयीं लेकिन इस ओर किसी ने ध्यान नहीं दिया।
-टाइम्स न्यूज़ गजरौला.