पिछड़ा वर्ग के स्वघोषित नेता, नगर पालिका ठेकेदार और वार्ड-10 से जिला पंचायत उम्मीदवार जाफर मलिक के सामने एक नयी मुसीबत खड़ी हो गयी है। वारसाबाद के एक व्यक्ति ने तहसील दिवस में मंडी धनौरा के एसडीएम से उनके फर्जीवाड़े की शिकायत की है। एसडीएम ने फर्जीवाड़े पर संबंधित कर्मचारियों से स्पष्टीकरण मांगे जाने की बात कही है।
जाफर मलिक और उनका पूरा परिवार गजरौला का निवासी है। यही नहीं मलिक गजरौला नगर पंचायत सदस्य का चुनाव भी लड़े हैं। इस बार उनकी पत्नि सभासद हैं।
जाफर ने तहसील कर्मचारियों से सांठगांठ कर स्वयं को वारसाबाद गांव का मूल निवासी होने का प्रमाण पत्र बनवा लिया।
वारसाबाद निवासी राजवीर सिंह ने इससे संबंधित सबूत तहसील दिवस में उपलब्ध कराये। गजरौला की निर्वाचन सूची में भी उनमें जमा की जिसमें जाफर मलिक का नाम दर्ज है। इस सबके वावजूद उन्होंने गांव का मूल निवास प्रमाण-पत्र बनवा लिया है।
एसडीएम आजाद भगत सिंह ने शिकायत मिलने पर फर्जीवाड़े की जांच कराने के बाद उचित कार्रवाई की बात कही है।
लगातार तीसरी बार लड़ते ही हार गये जाफर
-टाइम्स न्यूज़ गजरौला.
गजरौला टाइम्स के ताज़ा अपडेट प्राप्त करने के लिए हमारे फेसबुक पेज से जुड़ें.