गजरौला में प्रदूषण नहीं, युवाओं को रोजगार चाहिए

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इस समय जो नवयुवक नये सिरे से उद्योगों पर दबाव बनाने के लिए लामबंद हो रहे हैं उनका कहना है कि वे मुर्गी नहीं अंडा चाहते हैं। उनका कहना है कि उद्योग तरक्की करें। प्रदूषण नियंत्रण में हो, साथ ही अधिकांश कर्मचारी क्षेत्रीय होने चाहिए।

छात्र नेता नैपाल सिंह राणा और संदीप भड़ाना का कहना है कि बाहरी लोग यहां की इकाईयों में काम कर रहे हैं। जबकि योग्य और कुशल युवकों की यहां भारी तादाद है। घर में उद्योग होने के बावजूद हम सड़कें नापते रहें। यह कहां का न्याय है। हम काम चाहते हैं, जो हमारा अधिकार है। उन्होंने कहा कि युवकों में रोष है, यदि उन्हें काम नहीं मिला तो वे कठोर फैसले भी ले सकते हैं।

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नवयुवक सतेन्द्र सिंह भाकियू नगर अध्यक्ष का कहना है कि रोजगार मिल जाये तो नवयुवक प्रदूषण और दूसरी दिक्कतों से भी निपट लेंगे। पहली जरुरत काम है। हमारी उद्योगपतियों से कोई दुश्मनी नहीं। वे उद्योग चलायें और हमारी सेवायें लें। हम मुर्गी नहीं मारना चाहते, आखिर अंडा तो वही देगी। हमारा काम अंडे से चल जायेगा।

-गजरौला टाइम्स डॉट कॉम गजरौला.